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सांसद पाटिल का ऑफिस आईएसओ प्रमाणित; 54 कामों की सूची बनाई, हर महीने 2.5 लाख चिट्‌ठी लोगों को भेजी जातीं

5 वर्ष पहले
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  • गुजरात की नवसारी सीट से भाजपा के सीआर पाटिल 6.89 लाख वोटों से जीते हैं
  • पाटिल को 17वीं लोकसभा के चुनाव में सबसे बड़ी जीत मिली है
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संतोष कुमार/ अनिरुद्ध शर्मा, नई दिल्ली. गुजरात की नवसारी से भाजपा के सीआर पाटिल ने सबसे बड़े अंतर से जीत दर्ज की है। उन्होंने कांग्रेस प्रत्याशी को 6.89 लाख वोटों से हराया। पाटिल इसका श्रेय मोदी के चेहरे और अमित शाह की कुशलता को देते हैं। हालांकि पाटिल कामकाज में तकनीक का खूब इस्तेमाल करते हैं और क्षेत्र के लोगों से हमेशा संपर्क रहते हैं। वे पहले और एकमात्र सांसद हैं, जिनका ऑफिस 2015 में ही आइएसओ: 2009 से प्रमाणित है। यह प्रमाणपत्र उन्हें सरकारी सुविधाओं के बेहतर प्रबंधन और निगरानी के लिए दिया गया।

 

पाटिल ने बतौर सांसद किए जाने वाले 54 काम चिह्नित कर रखे हैं। बुजुर्गों की अलग सूची है, जिन्हें चिट्ठी भेजकर हालचाल लिया जाता है। पाटिल के कार्यालय में 47 लोगों का स्टाफ है। ये स्टाफ चिट्ठी लिखने से लेकर, कलेक्टर, निगम, राज्य और केंद्र से जुड़े मसलों पर काम करता है। कार्यालय से रोज 750 और महीने में करीब 2.5 लाख चिट्ठियां क्षेत्र के लोगों को भेजी जाती हैं।

 

लाभार्थियों की सूची के लिए बनवाया मोबाइल एप

सरकारी योजनाओं के लिए उन्होंने ऐसा मोबाइल एप बनवा रखा है, जिसमें लाभार्थियों की सूची है। साथ ही किसे, किस योजना का लाभ मिल रहा है, यह एप पर होता है। पाटिल रोज 250 लोगों से दफ्तर में मिलते हैं। उन्होंने 6 लाख लोगों का डाटा बना रखा है, जिसमें वे जन्मदिन से लेकर शादी की सालगिरह तक की बधाई संदेश भेजते हैं। गांव के लोगों को शहर न आना पड़े, इसलिए सप्ताह में एक दिन मोबाइल ऑफिस वैन नवसारी की 7 विधानसभा क्षेत्रों में जाती है। नवसारी देश का पहला स्मोक फ्री जिला घोषित हुआ है। 


सुभाष बहेड़िया- सांसद, भीलवाड़ा, राजस्थान : खुद लोगों का फोन उठाते हैं, 1700 बूथों के वर्कर को नाम से जानते हैं 
भीलवाड़ा से भाजपा सांसद सुभाष बहेड़िया भी 6.12 लाख वोट से जीते हैं। यह देश में चौथी सबसे बड़ी जीत है। बहेड़िया 2009 में चुनाव नहीं लड़े थे, पर जब वे पहली बार 1996 में सांसद बने थे, तबसे यहां अपना अाॅफिस बना रखा है। वे साल में 250 से ज्यादा दिन क्षेत्र में ही रहते हैं। उनकी बड़ी खासियत है कि वे अपना फोन खुद ही उठाते हैं चाहे कोई भी फोन करे। सुभाष कहते हैं कि मेरे क्षेत्र में 2200 बूथ हैं, जिनमें से 1700 बूथों के हर वर्कर को मैं नाम से जानता हूं। 

 

रंजनबेन भट्ट- सांसद, वड़ोदरा, गुजरात : रंजनबेन बिजली से नाली सफाई तक की शिकायतें हल करवाती हैं 
गुजरात के वड़ोदरा से भाजपा प्रत्याशी रंजनबेन भट्ट सर्वाधिक मतों से जीतने वाली महिला सांसद हैं। उन्होंने कांग्रेस उम्मीदवार को 5.89 लाख वोट से हराया है। पीएम मोदी द्वारा 2014 वड़ोदरा सीट छोड़ने के बाद उपचुनाव में रंजनबेन यहां से सांसद चुनी गईं थीं। रंजनबेन ने बताया कि वड़ोदरा के सभी गांव व शहरी इलाके के हर घर में मेरा फोन नंबर है। मैं कोशिश करती हूं कि फोन खुद रिसीव करूं। लोग बिजली जाने और नाली की सफाई तक के लिए मुझे फोन करते हैं। 

 

कृष्णपाल- सांसद फरीदाबाद, हरियाणा : हफ्ते में 3 दिन लोगों के बीच में रहते हैं, सांसद सेवा केंद्र बनाया 
फरीदाबाद से भाजपा के कृष्णपाल गुर्जर 6.38 लाख वोटों से जीते हैं। कृष्णपाल का कहना है कि हर व्यक्ति का फोन खुद उठाना और जीवंत संपर्क बनाना उनकी सफलता का राज है। सप्ताह में 3 दिन क्षेत्र में रहने और लोगों के लिए सुलभ होने से उनकी छवि उन्हें जीत दिलाने में अहम रही है। वे सिर्फ वही वादा करते हैं, जिसे पूरा कर सकें। इस वजह से ही लोगों का भरोसा उन पर बढ़ा है। अपने कार्यालय का नाम उन्होंने 'सांसद सेवा केंद्र' रखा है। यहां 20 लोगों का स्टाफ है। 

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